उत्तराखंड में लौटता मानसून एक बार फिर आफत बनकर बरस रहा है। मसूरी से देहरादून तक बुधवार रात और गुरुवार सुबह हुई तेज बारिश ने लोगों की टेंशन बढ़ा दी है। पहाड़ी इलाकों में पहले से हुई आपदाओं के चलते लोग पहले ही सहमे हुए थे और अब भारी बारिश ने उनकी मुश्किलें और बढ़ा दी हैं।
मौसम विभाग के अनुसार, पिछले 24 घंटे में सबसे ज्यादा बारिश टिहरी जिले के नरेंद्रनगर में 175 मिमी दर्ज की गई। इसके अलावा मसूरी में 117 मिमी, देहरादून शहर में 83 मिमी, हरिपुर में 69.8 मिमी, ऋषिकेश में 44.2 मिमी, जौलीग्रांट में 25.8 मिमी, मोहकमपुर में 73.5 मिमी, मालदेवता में 40 मिमी, कालसी में 33.5 मिमी और हाथीबड़कला में 22 मिमी बारिश दर्ज की गई।
देहरादून जिले के मसूरी, मालदेवता, सहस्रधारा, प्रेमनगर और डालनवाला को संवेदनशील इलाके घोषित किया गया है। यहां भारी बारिश के बाद भूस्खलन और सड़क अवरुद्ध होने का खतरा बना हुआ है। स्थानीय प्रशासन ने लोगों को सतर्क रहने और अनावश्यक यात्रा से बचने की सलाह दी है।
मौसम विभाग का कहना है कि मानसून का यह अंतिम दौर है, लेकिन इसकी रफ्तार सामान्य से कहीं अधिक है। एक सप्ताह के भीतर राज्य में सामान्य से 89% ज्यादा बारिश (87.5 मिमी) दर्ज की गई है। पूरे मानसून सीजन में अब तक उत्तराखंड में सामान्य से 25% अधिक बारिश हो चुकी है, जो भूस्खलन और बाढ़ का खतरा बढ़ा रही है।