हरियाणा के भिवानी जिले में शिक्षिका मनीषा की संदिग्ध मौत के मामले की जांच अब केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) को सौंपी गई है। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर इसकी जानकारी देते हुए कहा कि भिवानी की बेटी मनीषा को न्याय दिलाने के लिए सरकार और प्रशासन पूरी गंभीरता से काम कर रहे हैं।
सीएम सैनी ने लिखा, “मैं खुद इस मामले पर नजर रख रहा हूं। परिवार की मांग को ध्यान में रखते हुए सरकार ने निष्पक्ष जांच के लिए केस को CBI को सौंपने का निर्णय लिया है।”
क्या है पूरा मामला?
भिवानी के ढाणी लक्ष्मण गांव की रहने वाली मनीषा एक प्राइवेट प्ले स्कूल में शिक्षिका थीं। 13 अगस्त को उनका शव सिंघानी गांव के खेतों में संदिग्ध परिस्थितियों में मिला। शव की हालत बेहद खराब थी, गला रेता हुआ था और गर्दन की त्वचा, मांसपेशियां व हड्डियां भी गायब थीं।
रेप की आशंका को देखते हुए पुलिस ने फॉरेंसिक जांच के लिए सैंपल भेजे। 14 अगस्त को परिजनों ने शव लेने से इनकार कर दिया और पुलिस पर गंभीर लापरवाही के आरोप लगाए, जिसके बाद यह मामला सुर्खियों में आ गया।
CBI जांच की मांग पर सरकार का फैसला
मनीषा के परिजन और स्थानीय लोग लगातार CBI जांच की मांग कर रहे थे। उनका आरोप था कि स्थानीय स्तर पर जांच निष्पक्ष नहीं हो रही और पुलिस की भूमिका संदिग्ध है। बढ़ते दबाव को देखते हुए सरकार ने यह केस CBI को सौंप दिया।
अब तक की कार्रवाई
मामले में सरकार ने कई सख्त कदम भी उठाए हैं। भिवानी के SP मनबीर सिंह को हटाकर सुमित कुमार को नया SP बनाया गया।
इसके अलावा लोहारू थाना प्रभारी अशोक, महिला ASI शकुंतला, डायल-112 के ASI अनूप, कांस्टेबल पवन और SPO धर्मेंद्र को निलंबित कर विभागीय जांच शुरू की गई है।
अब सभी की नजरें CBI जांच पर टिकी हैं, जिससे साफ हो सकेगा कि आखिर मनीषा की मौत के पीछे सच्चाई क्या है।